टोरंटो में स्थापित हुई उत्तर अमेरिका की सबसे ऊंची श्रीराम प्रतिमा, गूंजा ‘जय श्रीराम’
कनाडा के मिसिसॉगा शहर में भगवान श्रीराम की भव्य प्रतिमा स्थापित कर एक नया कीर्तिमान रचा गया है। यह 51 फीट ऊंची प्रतिमा उत्तर अमेरिका में श्रीराम की अब तक की सबसे ऊंची मूर्ति है, जिसे ओंटारियो स्थित हिंदू हेरिटेज सेंटर में स्थापित किया गया है। उद्घाटन के अवसर पर “जय श्रीराम” के गगनभेदी नारों से पूरा शहर गूंज उठा और श्रद्धा से सराबोर हो गया।
आध्यात्मिक शक्ति का प्रतीक बनी मूर्ति
यह प्रतिमा न सिर्फ श्रद्धा और विश्वास का प्रतीक है, बल्कि कनाडा में भारतीय प्रवासी समुदाय की सांस्कृतिक विरासत और धार्मिक पहचान का भी प्रतीक बन गई है। फाइबरग्लास से बनी यह भव्य मूर्ति अब ग्रेटर टोरंटो क्षेत्र में एक आध्यात्मिक केंद्र और पर्यटक आकर्षण का प्रमुख हिस्सा बन गई है।
भव्य अनावरण समारोह, जनसैलाब उमड़ा
रविवार को आयोजित अनावरण समारोह में हजारों श्रद्धालुओं ने हिस्सा लिया। इस मौके पर कई प्रमुख कनाडाई राजनेता भी मौजूद रहे, जिनमें शामिल थे:
- कैबिनेट मंत्री रेची वल्डेज़
- ट्रेजरी बोर्ड अध्यक्ष शफकत अली
- अंतरराष्ट्रीय व्यापार मंत्री मनिंदर सिद्धू
- हाउस ऑफ कॉमन्स में विपक्ष के नेता
यह आयोजन कनाडा में बहुसांस्कृतिक समरसता और धार्मिक सहिष्णुता का एक शानदार उदाहरण बन गया।
“अयोध्या से ओंटारियो तक गूंजा श्रीराम का नाम”
इस ऐतिहासिक क्षण को सोशल मीडिया पर भी लोगों ने उत्साह के साथ साझा किया। कई यूजर्स ने इसे “विश्व भर में सनातन संस्कृति की विजय” बताया। एक यूजर ने लिखा:“अयोध्या से ओंटारियो तक, श्रीराम का नाम सीमाओं से परे गूंज रहा है। यह केवल मूर्ति नहीं, बल्कि आस्था, शांति और पहचान का स्तंभ है।”वहीं, कुछ ने इसे “मेक कनाडा ग्रेट अगेन” जैसा नारा देते हुए, सांस्कृतिक पुनर्जागरण की दिशा में बड़ा कदम बताया।
कट्टरपंथ के खिलाफ शांति का संदेश
कनाडा में हाल के वर्षों में हिंदू समुदाय को कट्टर खालिस्तानी तत्वों से टकराव का सामना करना पड़ा है। ऐसे में यह मूर्ति आस्था के साथ-साथ सहिष्णुता, धैर्य और अस्तित्व के संतुलन का प्रतीक बनकर सामने आई है। यह वैश्विक स्तर पर सनातन धर्म की दृढ़ता और गरिमा को दर्शाती है।






